बेतिया :: जिलाधिकारी द्वारा अनुमंडल पदाधिकारी, बेतिया सदर को किया गया शोकॉज, 24 घंटे के अंदर स्पष्टीकरण देने का दिया निर्देश

शहाबुद्दीन अहमद, कुशीनगर केसरी, बेतिया, बिहार। जिलाधिकारी, डॉ0 निलेश रामचंद्र देवरे द्वारा कर्तव्य में लापरवाही एवं अनियमितता बरतने के चलते अनुमंडल पदाधिकारी, बेतिया सदर, विद्यानाथ पासवान से शोकॉज किया गया है। विदित हो कि अपर समाहर्ता, नंदकिशोर साह द्वारा अनुमंडल कार्यालय बेतिया के औचक निरीक्षण के बाद भेजे गए प्रतिवेदन के आधार पर जिलाधिकारी, डॉ निलेश रामचन्द्र देवरे द्वारा अनुमंडल पदाधिकारी, विद्यानाथ पासवान से स्पष्टीकरण मांगा गया है। दिनांक 10.12.2019 को अपर समाहर्त्ता द्वारा अनुमंडल कार्यालय, बेतिया सदर का निरीक्षण किया गया। निरीक्षण में कार्यालय के लिपिक श्रीमती सुधा फेलिक्स अनुपस्थित पाई गई। जबकि कार्यालय के लिपिक कश्यप कुणाल 30 नवम्बर से लगातार अनुपस्थित पाए गए। इनका आकस्मिक अवकाश हेतु आवेदन 30 से 5 दिसंबर तक स्वीकृत पाया गया जबकि 6 दिसंबर से आज तक हाजरी खाली था। उल्लेखनीय है कि पूर्व के एक मामले में कश्यप कुणाल एवं संविदामुक्त कार्यालय परिचारी, विमल कुमार पर प्रीवेंशन ऑफ करप्शन एक्ट एवं आइपीसी की सुसंगत धाराओं के तहत 29 नवम्बर को ही प्राथमिकी दर्ज कराई गई है। जबकि उनका अवकाश संबंधी आवेदन भी 29 नवम्बर 2019 को ही स्वीकृत किया गया है। जिलाधिकारी द्वारा इसे अत्यंत गंभीरता से लिया गया है। उन्होंने कहा है कि ऐसा प्रतीत होता है कि जानबूझकर लिपिक को बचाने के लिए जिस दिन प्राथमिकी दर्ज की गई उसी दिन आरोपी लिपिक का आकस्मिक आवेदन स्वीकृत कर लिया गया। साथ ही साथ अनाधिकृत रूप से कार्यालय से अनुपस्थित लिपिक पर क्या कार्रवाई की गई है, इस मामले में एस डी एम से स्पष्टीकरण की मांग की गई है।