विजय कुमार शर्मा, बिहार, छपरा। जिले में जारी शीतलहर व ठंड के मद्देनजर इससे प्रभावित लोगों के उपचार के लिए सभी अस्पतालों में समुचित प्रबंध कर दिया गया है। उक्त बातें सिविल सर्जन डॉ माधवेश्वर झा ने प्रेस रिलीज जारी कर कही। उन्होंने बताया कि सभी अस्पतालों में आवश्यक जीवन रक्षक दवाएं उपलब्ध करा दी गई है और किसी भी स्थिति से निपटने के लिए स्वास्थ्य विभाग पूरी तरह तैयार है। उन्होंने कहा कि ठंड से बचाव के लिए सरकारी अस्पतालों में आम जनों को जागरूक भी किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि ठंड लगने के मुख्य लक्षण शरीर का ठंडा होना, अंगों का सुन पड़ना, अत्यधिक कंपकपी या ठिठुरन का होना, बार बार उल्टी होना, अत्यधिक सुस्त होना या थकान महसूस होना, अर्ध्द बेहोशी अथवा बेहोश होना इसके प्रमुख लक्षण है।
सिविल सर्जन ने कहा मौसम को देखते हुए लोगों को अति आवश्यक होने पर ही घरों से निकलना चाहिये। विशेषकर वृद्ध- बच्चों को अहले सुबह या शाम में घर से बाहर नहीं निकलने दें। शरीर में ऊष्मा की प्रवाह जारी रखने के लिए पौष्टिक आहार एवं गर्म पेय पदार्थों का सेवन करें। बंद कमरों में जलते हुए लालटेन, दीया या कोयले की अंगीठी का प्रयोग करते समय धुंआ के बाहर निकासी का उचित प्रबंधन करना सुनिश्चित करें। ऐसा नहीं करने पर दम घुटने की स्थिति उत्पन्न हो सकती है। उन्होंने हीटर ब्लोअर आदि का प्रयोग करने के बाद स्विच ऑफ करने पर विशेष ध्यान देने की जरूरत बतायी।
सिविल सर्जन ने कहा कि यदि घर से बाहर जाना अति आवश्यक है तो, शरीर पर समुचित गर्म कपड़ा पहन कर निकले, सिर चेहरा, हाथ और पैर को भी पर्याप्त कपड़ों से ढक ले। मौसम की जानकारी हमेशा लेते रहे। शरीर को निर्जलीकरण से बचाने के लिए शराब का सेवन किसी भी हालत में न करें। यह न केवल गैरकानूनी है, बल्कि ऐसा करने पर जान भी जा सकती है। उन्होंने कहा कि विशेष परिस्थितियों में चिकित्सक की सलाह ले या सहायता के लिए एंबुलेंस सेवा 102 अथवा 108 पर कॉल करें।